इस ब्लॉग को लिखने का मेरा एकमात्र मकसद आप लोगों को मेरी रचऩाओ से प्रभावित कर कुछ समझाना है, चूंकि और कोई अच्छा गुण हमारे में नहीं है जिसको हम समाज में सरेआम उजागर कर सकें, इससे इक संदेश मिला करेगा सभी को पर इस बात का हमें बहुत खेद है कि हमें कोई ग़ज़ल लिखनी नहीं आती, इस में प्रकाशित सभी रचनाओं के सर्वाधिकार अविनाश यादव के पास सुरक्षित हैं। अविनाश यादव की लिखित स्वीकृति के बिना इनके किसी भी अंश के पुनर्प्रकाशन की अनुमति नहीं है।
Sep 26, 2014
Tujhe Pyar Hee Pyar Karu Mai
Tujhko niharu ki tujhi se pyar karu,
Dil izzazat de toh saala mai b izhaar karu,
Chalne 2 apne dawat-ae-ishq ka khumaar joro-shoro se,
Kyoki mai toh bhatka mussafir hu gali-gali ka jo husn k numaindo se sirf bepanaah pyar-pyar aur pyar hee karu.....all day all night....!!
Yadav
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